जल संकट बेंगलुरु ही नहीं इन शहरों में भी आ सकता है... देश के जलाशयों में 38 प्रतिशत कम पानी

Water crisis may occur not only in Bengaluru but also in these cities... 38 percent less water in the country's reservoirs.

जल संकट बेंगलुरु ही नहीं इन शहरों में भी आ सकता है...  देश के जलाशयों में 38 प्रतिशत कम पानी

बेंगलुरु में 14,000 बोरवेल हैं जिनमें से 6,900 सूख चुके हैं। जलस्रोतों पर या तो अतिक्रमण हो गया है या वे सूख गये हैं। कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने संवाददाताओं से कहा था कि शहर को 2,600 एमएलडी पानी की आवश्यकता है, जिसमें से 1,470 एमएलडी कावेरी नदी से और 650 एमएलडी बोरवेल से आता है।

बेंगलुरु : बेंगलुरु में पानी का संकट खड़ा हो गया है। आलम ये है कि पीने के पानी से लेकर नहाने-धोने तक के लिए पानी नहीं मिल पा रहा है। बेंगलुरु जैसे शहर पहले से ही 2,600 मिलियन लीटर प्रतिदिन की मांग के मुकाबले लगभग 500 मिलियन लीटर प्रतिदिन (एमएलडी) पानी की कमी से जूझ रहे हैं।

आंकड़ों के मुताबिक, गर्मी के मौसम से पहले भारत के 150 प्राथमिक जलाशयों में भंडारण क्षमता उनकी कुल क्षमता का सिर्फ 38 प्रतिशत है, जो पिछले दशक की इसी अवधि के औसत से कम है। केंद्रीय जल आयोग के साप्ताहिक बुलेटिन के अनुसार, अन्य राज्यों में से कर्नाटक में पिछले साल की समान अवधि की तुलना में कम भंडारण स्तर दर्ज किया गया।

बेंगलुरु में 14,000 बोरवेल हैं जिनमें से 6,900 सूख चुके हैं। जलस्रोतों पर या तो अतिक्रमण हो गया है या वे सूख गये हैं। कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने संवाददाताओं से कहा था कि शहर को 2,600 एमएलडी पानी की आवश्यकता है, जिसमें से 1,470 एमएलडी कावेरी नदी से और 650 एमएलडी बोरवेल से आता है।

पिछले वर्ष की तुलना में हिमाचल प्रदेश, पंजाब, मध्य प्रदेश, त्रिपुरा, राजस्थान, बिहार, महाराष्ट्र, उत्तर प्रदेश, गुजरात, छत्तीसगढ़, आंध्र प्रदेश और तेलंगाना (दोनों राज्यों में दो संयुक्त परियोजनाएं) और तमिलनाडु सहित कई अन्य राज्यों ने भी कम भंडारण स्तर की सूचना दी है। आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार, इन 150 जलाशयों की कुल भंडारण क्षमता 178.784 बीसीएम है, जो देश की कुल अनुमानित भंडारण क्षमता 257.812 बिलियन क्यूबिक मीटर का लगभग 69.35 प्रतिशत है।

जलाशय भंडारण बुलेटिन के अनुसार, इन जलाशयों में उपलब्ध भंडारण 67.591 बीसीएम है, जो उनकी कुल भंडारण क्षमता का 38 प्रतिशत है। हालांकि, पिछले वर्ष की इसी अवधि के दौरान उपलब्ध लाइव स्टोरेज 80.557 बीसीएम था, जो पिछले दशक में औसतन 72.396 बीसीएम था। इस प्रकार, इन 150 जलाशयों में मौजूदा संग्रहण पिछले वर्ष की समान अवधि के संग्रहण का 84 प्रतिशत और पिछले दशक के औसत संग्रहण का 93 प्रतिशत है।

बुलेटिन में कहा गया है, "देश में कुल भंडारण की स्थिति पिछले वर्ष की इसी अवधि की तुलना में कम है और पिछले दस वर्षों की इसी अवधि के औसत भंडारण से भी कम है।" दक्षिणी क्षेत्र, जिसमें आंध्र प्रदेश और तेलंगाना, कर्नाटक, केरल और तमिलनाडु जैसे राज्य शामिल हैं, 53.334 बीसीएम की कुल भंडारण क्षमता वाले 42 जलाशयों की निगरानी करता है।

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